कनाडा ने भारतीय छात्रों के वीजा में की बड़ी कटौती, 2028 तक अस्थायी नागरिकों को 5% तक सीमित करेगा

टोरंटो:
कनाडा के नए प्रधानमंत्री मार्क कार्नी ने देश में अस्थायी नागरिकों — जिनमें विदेशी छात्र और कामगार शामिल हैं — की संख्या को नियंत्रित करने के लिए बड़ा ऐलान किया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि 2028 तक अस्थायी निवासियों की संख्या देश की कुल जनसंख्या के 5% से अधिक नहीं होगी।
इस नीति का सीधा असर अंतरराष्ट्रीय छात्रों पर पड़ा है, विशेष रूप से भारतीय छात्रों पर, जो लंबे समय से कनाडा को उच्च शिक्षा के लिए पसंद करते आए हैं।
📉 भारतीय छात्रों के वीजा परमिट में 31% की गिरावट
कनाडा के इमीग्रेशन, रिफ्यूजी एंड सिटिजनशिप कनाडा (IRCC) विभाग द्वारा जारी ताजा आंकड़ों के अनुसार,
2025 की पहली तिमाही में केवल 30,640 भारतीय छात्रों को स्टडी परमिट जारी किए गए हैं।
जबकि 2024 की पहली तिमाही में यह संख्या 44,295 थी।
👉 यह गिरावट 31% की है।
📊 पिछले वर्षों के आंकड़े:
- 2023 में कनाडा ने कुल 6,81,155 विदेशी छात्रों को स्टडी परमिट जारी किए थे, जिनमें 2,78,045 भारतीय छात्र थे।
- 2024 में यह संख्या घटकर 5,16,275 हो गई, और भारतीय छात्रों की संख्या सिर्फ 1,88,465 रही।
- अब 2025 में, सरकार ने लक्ष्य रखा है कि सिर्फ 4,37,000 विदेशी छात्रों को स्टडी परमिट दिए जाएंगे।
- संभावना है कि 2026 में इसमें और कटौती की जा सकती है।
🏠 आवास और सेवाओं पर बढ़ते दबाव का असर
कनाडा सरकार का यह कदम देश में तेजी से बढ़ते आव्रजन, आवास की कीमतों में इजाफा, और स्वास्थ्य व परिवहन जैसी सार्वजनिक सेवाओं पर दबाव के चलते उठाया गया है। सरकार का मानना है कि अस्थायी नागरिकों की सीमित संख्या से संसाधनों का उचित उपयोग सुनिश्चित किया जा सकेगा।
💸 स्टूडेंट्स के लिए वित्तीय शर्तें सख्त
नए नियमों के तहत अब कनाडा में पढ़ने आ रहे विदेशी छात्रों को यह साबित करना होगा कि उनके पास कम से कम 12.7 लाख रुपये (20,635 CAD) का वित्तीय समर्थन है।
जबकि 2024 में यह सीमा 6.14 लाख रुपये (10,000 CAD) थी।
🔚 निष्कर्ष: क्या अब आसान नहीं रहेगा कनाडा जाना?
कनाडा में पढ़ाई की योजना बना रहे भारतीय छात्रों को अब पहले से अधिक सावधानी और तैयारी की ज़रूरत होगी। वीजा परमिट में कटौती और वित्तीय शर्तों के कड़े होने से छात्र व उनके परिवारों को अपनी योजना पर दोबारा विचार करना पड़ सकता है।